प्रमोद साह यह पुरानी कहावत है, कि पूरी तीसरी दुनिया को अमेरिका भेड़ बकरियों की तरह हांकता रहा है । भारत सहित पूरी दुनिया में जारी कृषि सुधार कानूनो की पृष्ठभूमि से इसे आसानी से समझा जा सकता... Read more
विवेकानंद माथने शायद भारत अब किसानोंका देश नही कहलायेगा। यहां खेती तो की जायेगी लेकिन किसानों के द्वारा नही, खेती करनेवाले कार्पोरेट्स होंगे, कार्पोरेट किसान। पारिवारिक खेती की जगह कार्पोरेट... Read more
प्रमोद साह कहते हैं कि समस्याएं समाधान लेकर आती हैं और समस्या संकट के साथ आती है तो वह नए रास्ते भी बनाती है . कोरोना काल उत्तराखंड कृषि के विकास और पुनर्विचार को अवसर प्रदान कर रहा है ।... Read more
उत्तराखंड में पिछले साल तक 62,407 मीट्रिक टन सेब उत्पादन हुआ है। लेकिन इस बार ये 80 हजार मीट्रिक टन तक चला गया 88है मनमीत सिंह उत्तराखंड में इस बार सेब का उत्पादन पिछले सालों की तुलन... Read more