सलीम मलिक
स्कैच : प्रदीप रावत
BJP नेता का बेटा एक्स्ट्रा सर्विस के बहाने रिशेप्सनिस्ट अंकिता भंडारी को धकेलना चाहता था देह व्यापार के धंधे में, उस पर अंकिता द्वारा विरोध किए जाने के कारण अंकिता को प्रताड़ित करने के बाद हत्या का आरोप है। उत्तराखंड में हुई इस घटना ने सबका दिल दहला दिया। जानकारी के मुताबिक 18 सितंबर को इन लोगों ने अंकिता भंडारी को देह व्यापार के धंधे में झोंकने के लिए इतना प्रताड़ित किया कि अंकिता ने रोते हुए रिसोर्ट स्टाफ से खुद को बचाने की गुहार लगाई। अंकिता ने इन लोगों की हरकतों का पूरा ब्यौरा अपने एक दोस्त के साथ वाट्सएप चैट में भी दिया…. तीर्थनगरी ऋषिकेश में संस्कारी भारतीय जनता पार्टी के पूर्व राज्यमंत्री के बेटे पर आरोप लगा है कि उसने अपने ही रिसोर्ट में कार्यरत रिसेप्शनिस्ट अंकिता भंडारी का एक बिगड़ैल ग्राहक के सामने एकस्ट्रा सर्विस देने के नाम पर सौदा कर दिया। जब रिसेप्शनिस्ट का काम करने वाली अंकिता ने देह व्यापार करने से साफ इंकार कर दिया तो उसे कई दिन तक बंधक बनाकर उसके साथ मारपीट की गई। अंततः उसकी हत्या कर शव को नहर में फेंक दिया गया। यह सनसनीखेज घटनाक्रम पौड़ी जिले के यमकेश्वर प्रखंड के गंगा भोगपुर स्थित भारतीय जनता पार्टी के पूर्व राज्य मंत्री विनोद आर्य के युवा पुत्र पुल्कित आर्य के वननतारा रिसोर्ट की है। जानकारी के मुताबिक करीब महीने भर पहले नादलस्यूं पट्टी, श्रीकोट गांव की अंकिता भंडारी पुत्री उपेंद्र सिंह भंडारी ने अपने एक जम्मू स्थित मित्र द्वारा बताए गए इस रिजॉर्ट में नौकरी के लिए आवेदन किया था। 10 हजार रुपए महीने पर पुल्कित आर्य के इस रिसोर्ट में अंकिता को रिसेप्शनिस्ट की नौकरी मिली थी। हत्या के उपरान्त पोस्टमॉर्टम कर दिये जाने के बाद अंकिता के अंतिम संस्कार में लोगों के उमड़े सैलाब को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को तमाम दुश्वारियों का सामना करना पड़ा, हर तरफ गम और गुस्सा से भरे लोग देखने में बाहर से बेहद शांत थे, लेकिन उनके चेहरे के भाव बता रहे थे कि वह बहुत कुछ कहना चाहते थे.. । भाजपा नेता विनोद आर्य के बेटे पुल्कित आर्य के हाथों नृशंस मौत का शिकार बनी उत्तराखंड की बेटी अंकिता भंडारी नवरात्रि की पूर्व व राष्ट्रीय बेटी दिवस की सांझ बेला में अपनी अनंत यात्रा पर निकल गई है। हजारों लोगों की भीड़ की मौजूदगी में गम और गुस्से की मिले-जुले माहौल में अंकिता का अंतिम संस्कार श्रीनगर के एनआइटी घाट पर किया गया है। इस दौरान घाट पर अंतिम संस्कार में लोगों के उमड़े सैलाब को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को तमाम दुश्वारियों का सामना करना पड़ा। हर तरफ गम और गुस्सा से भरे लोग देखने में बाहर से बेहद शांत थे लेकिन उनके चेहरे के भाव बता रहे थे कि वह बहुत कुछ कहना चाहते थे। । सड़क हादसों में विश्वगुरू बना भारत, तमाम दावों के बीच प्रति घंटा हो रही एक दर्जन से अधिक मौतें पोस्टमार्टम के बाद अंकिता के शव को श्रीनगर मोर्चरी में रखा गया था। परिवार ने पोस्टमार्टम की मिली अंतरिम रिपोर्ट से नाइत्तेफाकी जताते हुए पूरी पोस्टमार्टम रिपोर्ट मिले बिना अंकिता का अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया था। हजारों लोगों ने मोर्चरी पर डेरा डाल दिया था। बद्रीनाथ हाइवे पर जाम की वजह से हजारों वाहन वहां फंसे हुए थे। सारा दिन प्रशासन अंकिता के परिजनों को अंतिम संस्कार के लिए मनाता रहा, लेकिन परिजन अंतिम संस्कार के लिए उस वक्त तैयार हुए जब मुख्यमंत्री ने उनकी मांग मान लेने की हामी भर दी। शाम छः बजे करीब अंकिता का शव एंबुलेंस से घाट पर पहुंचाया गया। इस दौरान अंकिता के पिता और भाई भी साथ थे। एनआईटी घाट पर पहले से ही भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया था। चूंकि अंकिता के शव को सूर्यास्त से पहले ही घाट तक पहुंचाया जाना जरूरी था, लिहाजा बेहद तेजी से अंकिता के शव को लेकर घाट तक पहुंचाया गया। अंतिम संस्कार के लिए पहले से ही तमाम तैयारियां कर ली गईं थीं। शव को तुरंत ही चिता पर रखा गया और इसके बाद अन्य धार्मिक क्रियाओं के बाद अंकिता के भाई ने चिता को मुखाग्नि दी। जिसके बाद अंकिता अपने हत्यारे पुल्कित और उसके रिजॉर्ट के तमाम राज लिए हमेशा के लिए पंचतत्व में विलीन हो गई।
‘जन्जवार’ से साभार